जीवन का अनुभव

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आयु के एक पड़ाव पर आकर महसूस होता है कि जिनको हम अत्यधिक महत्व देते रहे, उनका जीवन में कोई योगदान नहीं है। केवल दुःख पहुंचाने का श्रेय उनको दिया जा सकता हैं।

प्रो. (डॉ) सरोज व्यास
(लेखिका-शिक्षाविद्)
निदेशक, फेयरफील्ड प्रबंधन एवं तकनीकी संस्थान,
(गुरु गोबिंद सिंह इंद्रप्रस्थ विश्वविद्यालय), नई दिल्ली

Thought of the day

 

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