संभव से असंभव और विश्वास से अविश्वास उत्पन्न होता हैं।
इसलिए व्यक्ति की आस्था मूल भाव पर होनी चाहिए, क्योंकि सहायक स्थाई नहीं होते।
प्रो. (डॉ) सरोज व्यास
(लेखिका-शिक्षाविद्)
निदेशक, फेयरफील्ड प्रबंधन एवं तकनीकी संस्थान,
(गुरु गोबिंद सिंह इंद्रप्रस्थ विश्वविद्यालय), नई दिल्ली