– आईटीएम में तैयार होते हैं सफल प्रोफेशनल्स, सफल इंसान
– मॉस कम्युनिकेशन के लिए एक बेहतरीन संस्थान
मीडिया में भविष्य तलाश रहे छात्रों को अपने 24 साल के अनुभव का निचोड़ बता रहा हूं कि यह क्षेत्र भले ही ग्लैमर से भरा हो, लेकिन इसमें चुनौतियां बहुत बड़ी हैं और संघर्ष जीवन पर्यंत। यानि खबरें ही खबरें। हर समय-हर पल। इसके लिए आपको हर समय अपडेट रहना होता है। जो बच्चे सुबह दस से पांच या आठ घंटे की नौकरी तलाशना चाहते हैं, मेरा सुझाव है कि वो मीडिया क्षेत्र से दूर रहें। इस पेशे में 24 घंटे की ड्यूूटी होती है। समाज का सजग प्रहरी बनना आसान नहीं। बार्डर पर सैनिक और समाज में पत्रकार ही प्रहरी है। जीवन संघर्ष अलग से है। यदि ईमानदार हो तो और भी मुश्किलें आती हैं। इसके बावजूद मेरा दावा है कि यदि आपको अच्छी पत्रकारिता आती है, भाषा और विषयों पर अच्छी पकड़ है। कुछ नया सोच सकते हैं और काम को लेकर जुनून है तो आप एक सम्मानित जीवन जी सकते हैं। बुनियादी समस्याएं कभी आड़े नहीं आती। कोरोना काल जैसी आपदा में भी घर बैठ कर आप अच्छा-खासा कमा सकते हैं।
अब प्रश्न है कि मीडिया के लिए कौन सा संस्थान सही। आज हर कोई संस्थान मीडिया कोर्स करा रहा है लेकिन सिखा क्या रहा है? जब मॉस कम्युनिकेशन के छात्र इंटर्नशिप के लिए आते हैं तो उन पर ही नहीं, उनके टीचर्स पर भी रोना आता है। अधिकांश स्टूडेंट्स बिग जीरो होते हैं। केवल रटामार किताबी जानकारी। इंटर्नशिप के बाद असल जिंदगी का संघर्ष शुरू होता है। जब बिषय की जानकारी होगी, सामान्य ज्ञान होगा, घटनाओं का अपडेट होगा तो ही स्क्रिप्ट लिखी जा सकती है या गुड इंट्रो लिखा जा सकता है। अच्छी हैडिंग दी जा सकती है।
अब बात देहरादून के इंस्टीट्यूट आफ टेक्नोलॉजी एंड मैनेजमेंट की। यहां मॉस कम्युनिकेशन की एक अच्छी फैकल्टी है। देश के कई नामी पत्रकार यहां विजिटिंग फैकल्टी के तौर पर आते हैं। सेमिनार, वर्कशॉप आदि गतिविधियां होती हैं। आईटीएम का अपना स्टूडियो है। जीवन मूल्यों की सीख दी जाती है। गुणवत्तापूर्ण शिक्षा के साथ संस्कार भी।
यहां से उत्तरजन टीवी यू-टयूब चैनल संचालित हो रहा है। यह चैनल अपनी बोली-भाषा और संस्कृति को बढ़ावा देने वाली गंभीर पत्रकारिता करता है। यानि अन्य यू-टयूबर से बिल्कुल अलग है। यहां छात्रों को प्रेक्टिकल जर्नलिज्म सिखाया जाता है यानि पढ़ाई के साथ ही साथ इंटर्नशिप भी। मसलन न्यूज एंकर, रिपोर्टर, स्क्रिप्ट राइटर, वीडियो एडिटर, वीडियो जर्नलिस्ट, डेेस्क एडिटर बनने के लिए सभी बारीकियां सिखाई जाती हैं। ऐसे में जब स्टूडेंट को आईटीएम से मॉस कॉम की डिग्री मिलेगी तो पहले ही दिन से वह किसी भी मीडिया घराने में काम करने के काबिल होगा। यानी डे वन से परफेक्ट जर्नलिस्ट।
यदि आप में खबरों को लेकर जुनून है, सीखने की ललक है, कुछ नया करना है, चुनौतियां पसंद हैं, सबसे पहले जानकारी हासिल करना चाहते हैं और समाज में एक अच्छा मुकाम हासिल करना चाहते हैं तो आपके सपनों के द्वार आईटीएम में आपका स्वागत है।
[वरिष्ठ पत्रकार गुणानंद जखमोला की फेसबुक वॉल से साभार]