जब धान पर हुआ वायरस का हमला, कृषि मंत्री जर्मनी घूमने चले गये

438
  • देहरादून के कई किसानों को खड़ी फसल पर चलाना पड़ा टैक्ट्रर
  • किसानों को विभाग जो बीज 90 रुपये में बेच रहा, वह बाजार में 60 रुपये में उपलब्ध

जब कृषि मंत्री गणेश जोशी जैविक उत्पाद और बीजों के प्रमाणीकरण के बहाने अपने दस सदस्यीय प्रतिनिधिमंडल यानी छह विधायकों और तीन अफसरों के साथ जर्मनी, फ्रांस, स्विटजरलैंड और इटली दौरे पर गये थे, तब देहरादून समेत कई इलाकों में धान की फसल पर वायरस ने हमला किया। जून में बोई गयी धान की फसल से कई किसानों को भारी घाटा हुआ।
देहरादून में ही आठ हजार हेक्टेयर में धान की खेती की जाती है और कई किसानों को अपनी खड़ी फसल पर ट्रैक्टर चलाना पड़ा। 6444 और 8433 वैराएटी धान पर वायरस का हमला हुआ। पंजाब और हरियाणा के किसानों के बाद यहां की फसलों पर वायरस का हमला था। तब क्या गणेश जोशी ने किसानों का हाल पूछा होगा या जर्मनी में कृषि विशेषज्ञों से राय ली होगी क्या? क्या यूएसओसीए के अफसरों ने इस संबंध में संज्ञान लिया? आखिर ये लोग वहां गये क्यों? 2012 से लगातार जर्मनी के न्यूरमबर्ग जा रहे हैं, हासिल कुछ नहीं हो रहा।
मजेदार बात तो यह है कि क्या कृषि मंत्री को धान की किस्मों की बुनियादी जानकारी भी नहीं होगी जो कुछ पूछते? दूसरी बात यह है कि किसानों को जो धान के बीज विभाग 90 रुपये किलो उपलब्ध करा रहा है वह बाजार में 60 रुपये किलो उपलब्ध हैं। बाकी रिपोर्ट जल्द कि प्रदेश को जर्मनी भ्रमण पर खर्च हुए 43 लाख और अफसरों को 80-80 हजार के एडंवास के बारे में बाद में।
[वरिष्‍ठ पत्रकार गुणानंद जखमोला की फेसबुक वॉल से साभार]

सुनो लोगों, आज के उत्तराखंड बंद को समर्थन दो

 

LEAVE A REPLY

Please enter your comment!
Please enter your name here